बीते महीने फ़रवरी से रूस ने यूक्रेन पर जंग छेड़ दिया है। जिसके बाद से रूस यूक्रेन पर रोज़ाना सैनिकों के साथ साथ देश के नागरिकों पर भी जान लेवा हमला कर रहा है। हमला इतना ख़ौफ़नाक है कि यूक्रेन के नागरिक अपने ही देश छोड़ने पर मजबूर हुए। लिहाजन यूक्रेन के नागरिक ख़ास तौर पर महिलाएं और बच्चियां भारी मात्रा में पड़ोसी देशो में भाग के शरण ले रहे है। लेकिन यहां भी इन महिलाओं और बच्चियों को चैन की सांस नहीं मिल रही है। पहले अपना घर बार छोड़ के भागे महिलाएं और बच्चियां यहां अब अपनी इज़्ज़त बचाते बचाते फिर रहे है।

कुछ केस जो पोलैंड में दर्ज़ किये गए
पहला केस: पोलैंड की पुलिस ने अपने देश में एक 49 साल के आदमी को गिरफ्तार किया है, जिस पर आरोप है कि युद्ध में घिरे यूक्रेन से भागकर पोलैंड आई 19 साल की रिफ्यूजी लड़की के साथ शेल्टर देने के बहाने उसके साथ रेप किया है।
दूसरा केस: पोलैंड की पुलिस ने दूसरे मामले में एक 16 साल की रिफ्यूजी लड़की के साथ रेप करने जा रहे एक व्यक्ति को रंगे हांथो पकड़ लिया। इस व्यक्ति ने इस 16 साल की लड़की को नौकरी के साथ कमरा देने का भी वादा किया था।
तीसरा केस: पोलैंड के मैडिका बॉर्डर पर रिफ्यूजी कैंप के अंदर पुलिस ने एक ऐसे आदमी को पकड़ा, जो केवल महिलाओं और बच्चियों को तरह-तरह के लुभावने ऑफर में फ़सा रहा था। पुलिस की तहकीकात के बाद पता चला कि यह आदमी ह्यूमन ट्रैफिकिंग गिरोह से जुड़ा हुआ है।

यह तीन केस उस जाल के महज कुछ ही चुनिंदा उदाहरण हैं, जिसमें रूस के आक्रमण के बाद यूक्रेन के बॉर्डर को पार करने वाले लाखों महिलाओं व बच्चों को फंसाने की कोशिश खुले आम चल रही है। एसोसिएटड प्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, यूक्रेन से सटे पोलैंड, रोमानिया, माल्दोवा, हंगरी और स्लोवाकिया में बने रिफ्यूजी कैंपों में बड़े पैमाने पर ह्यूमन ट्रैफिकर्स (मानव तस्कर) सक्रिय हो चुके हैं, जो इन रिफ्यूजी महिलाओं व बच्चों को अपने जाल इ फसाना चालू कर चुके है। साथ ही इन महिलाओं व बच्चों का शारीरिक शोषण भी किया जा रहा है।

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25 लाख से ज्यादा है रिफ्यूजी, इनमें 10 लाख से ज़्यादा है बच्चे
यूएन रिफ्यूजी एजेंसी के अनुसार, यूक्रेन से लगभग 25 लाख से भी ज्यादा लोग भागकर दूसरे देशों में शरण ले रहे है। इनमें लगभग 10 लाख से ज्यादा बच्चे शामिल हैं। इसके बाद पूरे यूरोप में अभूतपूर्व मानवीय संकट उत्पन्न हो चूका है। ग़ौर करने वाली बात है कि यह दूसरे विश्वयुद्ध के बाद सबसे तेजी से हुआ पलायन है।

क्या अंजाम होता है ह्यूमन ट्रैफिकिंग के शिकार का?

वेश्यावृत्ति के लिए रेडलाइट एरिया में बेच दिया जाता है
बंधुआ मजदूरी के लिए अवैध खान में बेच दिया जाता है
घरेलू बंधुआ नौकर बनाने के लिए बेच दिया जाता है
शरीर के अंग निकालकर बेच दिए जाते हैं
भीख मांगने के लिए मजबूर किया जाता है
जबरन अपराध करने के लिए मजबूर किया जाता है

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