गृह मंत्री अमित शाह ने एक बार फिर विपक्ष पर पलटवार करते हुए बड़ा बयान दिया है। दरअसल अमित शाह अहमदाबाद में कड़वा पाटीदार संप्रदाय की देवी मां उमिया को समर्पित ‘उमिया धाम मंदिर’ के शिलान्यास में एक समारोह के दौरान अपना वक्तव्य देते हुए अलग-अलग टिप्पणियां पेश कर रहे थे। इस बीच उन्होंने कहा कि “पहले लोग मंदिरों में जाने से कतराते थे लेकिन मोदी सरकार के साथ एक नए युग की शुरुआत हुई। हिंदू समुदाय के आस्था के केंद्र को कई सालों तक अपमानित किया गया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के 2014 में सत्ता में आने तक किसी ने भी इनका गौरव बहाल करने की परवाह नहीं की, मोदी सरकार अब ऐसे स्थलों के जीर्णोद्धार के लिए निडरता से काम कर रही हैं।”
शिलान्यास के बाद आयोजित किए गए समारोह में शाह ने आगे और भी कई बातें कहीं उन्होंने आगे अपना तर्क रखते हुए कहा कि “कई वर्षों तक हिंदू समुदाय के आस्था के केंद्रों को अपमानित किया गया और जब तक मोदी सरकार पूर्ण बहुमत के साथ केंद्र में सत्ता में नहीं आई। तब तक किसी ने भी गौरव बहाल करने की पहल नहीं की, आज जब एक भव्य मंदिर का शिलान्यास आर्य समाजी आचार्य देवव्रत द्वारा किया जा रहा है। ऐसे मौके पर मैं कहना चाहूंगा कि मोदी जी ने हमारे आस्था और विश्वास के भूले बिसरे केंद्रों के जीर्णोद्धार के लिए निडर होकर और विश्वास एवं सम्मान के साथ काम किया है।”
13 दिसंबर को पीएम मोदी करेंगे काशी विश्वनाथ मंदिर का जीर्णोद्धार
गृहमंत्री ने अपने वक्तव्य में मात्र मां उमिया धाम मंदिर के बारे में ही नहीं कहा बल्कि उन्होंने यह भी बताया कि 13 दिसंबर के दिन काशी विश्वनाथ मंदिर का जीर्णोद्धार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा किया जाएगा। यह जानकारी देते हुए अमित शाह ने कहा कि “हम प्रधानमंत्री नरेंद्र भाई के हाथ से 13 दिसंबर को काशी विश्वनाथ मंदिर का जीर्णोद्धार होते हुए देखेंगे, जिसे औरंगजेब के जमाने में ध्वस्त कर दिया गया था। मंदिर ना केवल धार्मिक आस्था के केंद्र रहे हैं, बल्कि वे जीवन से निराश लोगों के लिए अपनी कठिनाइयों को दूर करने और आगे बढ़ने के लिए समाज सेवा और ऊर्जा के केंद्र भी रहे हैं। गुजरात और देश के उत्थान का इतिहास इस समुदाय से जुड़ा है।”
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