दुनियाभर के कई देश कोरोना से बचाव के लिए अपने देश के नागरिकों को कोरोना वैक्सीन की बूस्टर डोज लगा रहे हैं, अमेरिका ने अपने नागरिकों को बूस्टर डोज लगाना शुरू भी कर दिया है। इस मामले में भारत सरकार ने किसी तरह की कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है, अब तक इस मामले में भारत के अंदर काफी बहस हो चुकी है लेकिन अब तक कोई आधिकारिक सूचना जारी नहीं किया गया है। WHO ने भी अब तक कोरोना वैक्सीन के बूस्टर डोज पर कोई खास प्रतिक्रिया नहीं दी है, इसलिए भारत सरकार भी अभी इस मामले में चुप्पी बनाए हुए है।

सूचना के अनुसार National Advisory Group इस महीने के अंत तक कोरोना वैक्सीन की बूस्टर डोज को लेकर बैठक कर सकती है। ऐसा माना जा रहा है कि इस बैठक में कोरोना वैक्सीन के बूस्टर डोज पर विस्तार में चर्चा की जा सकती है, इसके अलावा बैठक में बच्चों के वैक्सीनेशन को लेकर भी निर्णय लिए जा सकते हैं। इन दोनों ही मुद्दों पर पहले कई बार चर्चा हो चुकी है लेकिन अब तक किसी तरह का कोई रिजल्ट घोषित नहीं किया गया है।

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ऐसा पहली बार होगा जब किसी हाई लेवल की बैठक में कोरोना वैक्सीन की बूस्टर डोज पर चर्चा की जाएगी, सूचना के अनुसार इस बैठक के बाद केंद्रीय पैनल रणनीति के तहत बच्चों को वैक्सिनेट करने का रोडमैप तैयार करेगा। अगले साल जनवरी से सरकार बीमार बच्चों को कोरोना वैक्सीन देने पर मंजूरी जता सकती है, बहुत जल्द इसके लिए आधिकारिक सूचना भी जारी की जा सकती है।

बच्चों को लगने वाली वैक्सीन की बात करे तो उन्हें कोवैक्सीन से लेकर जायडस कैडिला जैसी वैक्सीन लगाई जा सकती हैं, लेकिन सरकार बच्चों को कौन सी वैक्सीन लगाने की अनुमति देगी यह देखने वाली बात होगी। सरकार ने यह पहले ही स्पष्ट कर दिया था की बच्चों की वैक्सीन को लेकर किसी तरह की कोई जल्दबाजी नहीं की जाएगी, जब इन वैक्सीनस की पूरी तरह जांच हो जाएगी तब जाकर केंद्र सरकार इसपर फैसला करेगी।

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