Patra Chawl Case: पात्रा चॉल मामले में आज संजय राउत की हिरासत खत्म हो रही थी। आज उन्हें फिर से कोर्ट में पेश किया गया जहां से उन्हें 22 अगस्त तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया।

शिवसेना के राज्यसभा संजय राउत को 22 अगस्त तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। हालांकि, अदालत ने उनके प्रति थोड़ी नरमी बरती है। अदालत ने उनको जुडिशल कस्टडी में भी दवाई और घर का खाना देने की अनुमति दी है। दरअसल, संजय राउत के वकील ने अदालत में कागज़ात दिए थे, जिसमें सांसद के स्वास्थ्य से संबंधित कागज़ात मौजूद थे। उन्हीं के आधार पर शिवसेना नेता को घर का खाना और दवाई देने की अनुमति दी गई है।

अदालत ने आर्थर रोड जेल के सुपरिटेंडेंट को संजय राउत के स्वास्थ्य के बारे में जानकारी देने के लिए कहा है ताकि उनके लिए व्यवस्था की जाए। अदालत के अगले आदेश तक संजय राउत को घर का खाना और दवाई दिया जाएगा।

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31 जुलाई की रात राउत को किया था गिरफ्तार

गौरतलब है कि गिरफ्तारी के बाद अदालत ने एक अगस्त को राउत को ईडी की हिरासत में पहले चार अगस्त, फिर आठ अगस्त और अब 22 अगस्त तक के लिए भेज दिया है। केंद्रीय एजेंसी ने उपनगर गोरेगांव में पात्रा चॉल के पुनर्विकास में कथित वित्तीय अनियमितताओं और उनकी पत्नी तथा कथित साथियों के संपत्ति से जुड़े वित्तीय लेनदेन के संबंध में राउत को 31 जुलाई की रात को गिरफ्तार किया था।

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क्या है पात्रा चॉल केस

पात्रा चॉल घोटाला मुंबई के उपनगरीय इलाके गोरेगांव के सिद्धार्थ नगर का है। यह इलाका पात्रा चॉल के नाम से लोकप्रिय है। यह 47 एकड़ में फैला है, जिसमें कुल 672 घर हैं। इसी पात्रा चॉल पुनर्विकास परियोजना में धांधली के मामले की जांच अब ईडी के हाथों में है। पुनर्वास का ठेका गुरु आशीष कंस्ट्रक्शन लिमिटेड (GACPL) को दे दिया था। लेकिन, 14 साल बाद भी लोगों को घर नहीं मिला है।

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