5 राज्यों में विधानसभा चुनाव को लेकर सियासी पारा अपने चरम पर है। बीजेपी बंगाल और असम में पूरी ताकत झोंक रही है। बीजेपी की तरफ से खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मोर्चा संभाल रहे हैं। शनिवार को बंगाल में ममता बनर्जी पर निशाना साधने के बाद वो असम के दौरे पर पहुंचे। असम के बोकाखाट में जनसभा को संबोधित किया। पीएम मोदी ने कहा, अब ये तय हो गया है कि असम में दूसरी बार भाजपा सरकार बनेगी। असम में दूसरी बार NDA सरकार बनेगी। असम में दूसरी बार डबल इंजन की सरकार आयेगी। कांग्रेस पर जमकर निशाना साधते हुए मोदी ने कहा कि भाजपा के नेतृत्व में NDA सरकार सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास के मंत्र के साथ आगे बढ़ रही है, लेकिन आज के कांग्रेस नेताओं को तो सिर्फ सत्ता से मतलब है, वो चाहे कैसे भी मिले।

प्रियंका के निशाने पर पीएम मोदी

असम में कांग्रेस भी बीजेपी को कड़ी टक्कर दे रही है। कांग्रेस की तरफ से महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा मोर्चा संभाल रही हैं। कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी रविवार को अपने दो दिवसीय दौरे पर असम के जोरहाट, नजीरा और खुमटाई में चुनाव प्रचार करने पहुंचीं। जोरहाट में प्रियंका गांधी ने चाय बागान के मजदूरों का मुद्दा उठाया। साथ ही मोदी पर तीखा हमला करते हुए कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा ने आरोप लगाया कि वह 22 वर्षीय महिला के एक ट्वीट से दुखी हैं, लेकिन असम में आई बाढ़ से तबाह हुए लोगों के लिए नहीं। मोदी के असम के चाबुआ में एक चुनावी रैली में टूलकिट और कांग्रेस की कथित साजिश का मुद्दा उठाने के एक दिन बाद प्रियंका गांधी ने कहा कि मोदी बाढ़ के दौरान लोगों की परेशानियों को लेकर चुप थे। कोरोना वायरस महामारी के दौरान ब्रह्मपुत्र में आई पिछले साल की बाढ़ से करीब 28 लाख लोग प्रभावित हुए थे।

असम में कौन मारेगा बाजी ?

असम की 126 विधानसभा सीटों के लिए तीन चरणों में चुनाव होना है। पहले चरण के लिए 27 मार्च का वोटिंग होगी। इसमें 47 सीटें हैं। दूसरे चरण में 39 सीटों पर एक अप्रैल का वोट डाले जाएंगे। तीसरे और अंतिम चरण में 40 सीटों के लिए 6 अप्रैल को वोटिंग होगी, और वोटों की गिनती अन्य चार राज्यों-पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, केरल और पुडुचेरी के साथ 2 मई को होगी। असम में विधानसभा का कार्यकाल 31 मई को खत्म हो रहा है। 2016 में हुए चुनाव में भाजपा ने 15 साल से यहां सत्तारूढ़ कांग्रेस को शिकस्त दी थी। तब भाजपा को 86 सीटें मिली थीं। अब जहां बीजेपी एक बार फिर वापसी की उम्मीद लगाए बैठी है और पीएम मोदी लगातार जनता को डबल इंजन की सरकार के फायदे गिना रहे हैं। तो वहीं कांग्रेस एक बार फिर अपनी खोई हुई सियासी जमीन तलाशने की कोशिश में जुटी है। अब आखिर असम के चुनावी रण में सफलता का सेहरा के सिर बंधेगा ये तो आने वाले वक्त ही बताएगा।

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