देश में बढ़ते कोरोना संक्रमण को लेकर प्रवासी कामगारों में एक बार फिर दहशत देखने को मिल रही है। लॉकडाउन की आहट से खौफजदा इन प्रवासियों में घर-वापसी की होड़ देखने को मिल रही है। खासतौर पर महाराष्ट्र में 30 अप्रैल तक लॉकडाउन जैसी सख्ती को लेकर प्रवासियों में भगदड़ है। दरअसल, पुराने जख्मों को याद कर ये प्रवासी कामगार किसी भी हालत में अपने घर लौटने को बेताब हैं। घर-वापसी करने वाले इन प्रवासियों में सबसे ज्यादा संख्या यूपी-बिहार के कामगारों की है। देश में कोरोना एक बार फिर प्रचंड रूप अख्तियार करता दिखाई दे रहा है। कई राज्यों में कोरोना के विस्फोट ने राज्य सरकारों की चिंता बढ़ा दी है। वहीं लोगों को एक बार फिर लॉकडाउन का डर सताने लगा है। पिछले 24 घंटे में रिकॉर्ड 1,84000 से ज्यादा मामले दर्ज किए गए हैं जबकि 1000 से ज्यादा मरीजों को अपनी जान गंवानी पड़ी। सबसे ज्यादा बुरा हाल महाराष्ट्र का है। जहां हर दिन रिकॉर्ड मामले सामने आ रहे हैं। बेकाबू होते कोरोना के मद्देनजर महाराष्ट्र सरकार ने सख्त पाबंदियां लागू कर दी हैं। आज से महाराष्ट्र में 30 अप्रैल तक लॉकडाउन जैसी सख्ती लागू कर दी गई है। यानि, महाराष्ट्र में जरूरी सेवाओं को छोड़कर सभी सेवाओं पर रोक लगा दी गई है।

कड़े प्रतिबंधों के बाद प्रवासियों में भगदड़

महाराष्ट्र में कठोर पाबंदियों के बाद प्रवासियों में पिछले साल की तरह एक बार फिर भगदड़ की स्थिति बन गई है। रोजी-रोटी की जुगाड़ में मुंबई जैसे शहरों में काम करने वाले प्रवासी किसी भी हाल में अपने घरों की तरफ जाना चाहते हैं। इन प्रसावियों के सामने जहां रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है तो वहीं पुराने जख्मों की याद ने इन प्रवासियों के मन में एक बार फिर खौफ पैदा कर दिया है। पिछले साल लॉकडाउन में 1.14 करोड़ प्रवासियों का पलायन हुआ था। यूपी में 32.49 लाख और बिहार में 15 लाख से ज्यादा प्रवासी मजदूरों ने घर-वापसी की थी। लोकसभा में श्रम मंत्री संतोष गंगवार ने आंकड़ा दिया था

प्रवासी कामगारों का पलायन रिटर्न

आपको याद होगा जब कोरोना ने पिछले साल कहर मचाना शुरू किया था तब देश के अलग-अलग हिस्सों से बड़ी संख्या में प्रवासी कामगारों ने पलायन करना शुरू कर दिया था। खासतौर पर महाराष्ट्र, गुजरात और राजस्थान जैसे राज्यों से यूपी-बिहार जैसे राज्यों में पलायन की खबरों ने जमकर सुर्खियां बटोरी थी। 8 फरवरी 2021 को लोकसभा में प्रवासी मजदूरों के पलायन पर पूछे गए सवाल के जवाब में श्रममंत्री संतोष गंगवार ने जवाब दिया था कि लॉकडाउन की वजह से देशभर के एक करोड़ 14 लाख से ज्यादा प्रवासी मजदूर अपने घरों को लौटे थे। जिनमें सबसे ज्यादा 32 लाख 49000 मजदूर यूपी लौटे थे। वहीं दूसरे पायदान पर बिहार राज्य था जहां के 15 लाख से ज्यादा प्रवासी मजदूर वापस अपने घरों को लौटे थे। एक बार फिर कोरोना ने बढ़ते मामलों से प्रवासी कामगारों में दहशत है। दोबारा महाराष्ट्र, दिल्ली और दक्षिण के राज्यों में गए प्रवासी कामगारों ने लॉकडाउन की आहट को देखते हुए पलायन शुरू कर दिया है। उन्हें डर है कि कहीं एक बार फिर देश में लॉकडाउन जारी हो गया। तो इस बार वो इस संकट का सामना कैसे कर पाएंगे।

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