देश मे लॉकडाउन के बाद से इंडिया रेलवे ट्रेनों की संख्या लगातार बढ़ा रही है | कोरोना संक्रमण से बचने के लिए अभी सिर्फ कन्फर्म टिकट वाले को ही रेलयात्रा करने की अनुमति दी गयी है | रेलवे रिजर्वेशन के साथ तक्काल टिकट बुक करवाकर रेलयात्रा करने की भी सुविधा दी गयी है |रेलवे बोर्ड के चेयरमैन वी. के यादव ने इस बारे में बात करते हुए कहा कि – 109 जोड़ी मार्गों पर 151 ट्रेनों को चलाने के लिए निजी संस्थाओं से योग्यता के लिए अनुरोध आमंत्रित किया गया है। निजी संस्थाएँ केवल 5 प्रतिशत ट्रेनें ही चलाएंगी, जबकि 95 प्रतिशत एक ही टिकट किराए के साथ रेलवे द्वारा चलाई जाएंगी|

सभी प्राइवेट ट्रेन को 12 क्लस्टर में चलाया जाएगा ,जिसमें बेंगलुरु, चंडीगढ़, जयपुर, दिल्ली, मुंबई, पटना, प्रयागराज, सिकंदराबाद, हावड़ा, चेन्नई शामिल हैं। उन्होंने कहा कि इस परियोजना से लगभग 30,000 करोड़ का निजी क्षेत्र का निवेश होगा | पूरे रेलवे नेटवर्क की निजी पार्टियों को सौंपने की आशंका के कारण, यादव ने गुरुवार को बताया कि यात्री ट्रेन परिचालन में निजी भागीदारी 2,800 मेल / एक्सप्रेस ट्रेनों में से केवल पांच प्रतिशत होगी। टिकट का किराया समान मार्गों पर हवाई किराए के जैसा होगा। उन्होंने ये भी कहा कि हम उम्मीद कर रहे हैं कि अप्रैल 2023 तक निजी ट्रेन परिचालन शुरू हो जाएगा। 2030 तक, हमारे पास 13 बिलियन यात्री होंगे। विपक्ष के नेताओं ने गुरुवार को निजी संस्थाओं को यात्री ट्रेनों के संचालन की अनुमति देने वाले रेलवे के फैसले की वजह से सरकार को फटकार लगाई थी | कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ने कहा कि सरकार ने गरीबों की जीवन रेखा छीन ली है|

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