केंद्रीय मंत्री विश्वेश्वर टूडू पर दो सरकारी अधिकारियों ने मारपीट का आरोप लगाया है। विश्वेश्वर टूडू जल शक्ति व आदिवासी मामले के केंद्रीय राज्य मंत्री हैं। अधिकारियों ने उन पर आरोप लगाया है कि कल शुक्रवार को मोदी सरकार के मंत्री ने भाजपा जिला कार्यालय में उनके साथ मारपीट की। केंद्रीय मंत्री ने इन आरोपों से इनकार किया है।
दोनों अधिकारियों ने घटना की जानकारी जिला कलेक्टर को दी। मंत्री ने जिला योजना बोर्ड के उप निदेशक अश्विनी मलिक और सहायक निदेशक देवाशीष मोहपात्रा को मयूरभंज जिले के बारीपीड़ा स्थित कार्यालय में एक समीक्षा बैठक के लिए आमंत्रित किया था। दोनों अधिकारी सरकारी फाइल के मुताबिक बैठक में सम्मिलित नहीं हुए। जिसे केंद्रीय मंत्री नाराज हो गए केंद्रीय मंत्री का कहना है कि उन्होंने प्रोटोकॉल का उल्लंघन किया है।
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केंद्रीय मंत्री का मानना है कि अधिकारी बैठक में बुलाए गए थे। उन्होंने अधिकारियों को चुनाव कार्यक्रम में व्यस्त होने का हवाला देते हुए बाद में आने को कहा था। देवाशीष पात्रा का कहना है कि हमने अधिकारियों को समझाने की कोशिश की। अभी पंचायत चुनाव को देखते हुए आचार संहिता लागू है। इसलिए फाइल नहीं ला सके। इस कारण मंत्री नाराज हो गए और हमारी बात सुनने से इनकार कर दिया उन्होंने कमरे का दरवाजा बंद कर दिया और कुर्सी उठाकर हमें पीटने लगे।
रघुनाथ मुरमू मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल के चिकित्सकों का कहना है कि इस मारपीट में मोहपात्रा का दाहिना हाथ टूट गया है जबकि अश्वनी मलिक जख्मी हुए हैं। जिला कलेक्टर को जानकारी देने के बाद मलिक ने थाने में शिकायत दर्ज कराई। और आरोपी केंद्रीय मंत्री ने इससे बिल्कुल इनकार कर दिया। केंद्रीय मंत्री का कहना है कि यह आरोप झूठे और गलत है।
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