तालिबान ने अफगानिस्तान के राष्ट्रपति भवन पूरी तरह कब्जा  कर लिया है। तालिबान ने जारी बयान में कहा कि अराजक माहौल को शांत करने के लिए काबुल में अपने तालिबान लड़ाके लेकर घुसा है। तालिबान की कब्जे सुनते है अफगानिस्तान नागरिक पूरी तरह दहशत में आ गए है। जानकारी के मुताबिक अफगानिस्तान से लोग अपने घर जमीन छोड़ दूसरे देशों का रुख करने पर मजबूर हो गए है। सोशल मीडिया पर अफगानिस्तान नागरिकों की तस्वीरें सामने आ रही है जहां लोग काबुल एयरपोर्ट पर भीड़ जमाए खड़े हुए हैं। दूसरी तरफ संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक अफगानिस्तान के हालात पर होने जा रही है।  इस बैठक की अध्यक्षता भारत करेगा

24 घंटे के भीतर अफगानिस्तान में तख्तापलट की तस्वीर पूरी दुनिया ने देखी है। लेकिन इन सबके बीच सबसे बड़ा सवाल  संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की इस बैठक का है जहां  अफगानिस्तान की ओर से प्रतिनिधि कौन होगा। जानकारी के मुताबिक भारत की तरफ से बैठक की अध्यक्षता विदेश मंत्री एस जयशंकर करेंगे। जो पहले से न्यूयॉर्क में मौजूद  हैं।तालिबान के कब्जे के बाद पूरी दुनिया चिंतित है। सबसे ज्यादा नुकसान ईरान को इस पूरे घटनाक्रम में हो सकता है। बता दें कि ईरान अफगानिस्तान की सीमा से लगा हुआ है। ईरान और तालिबान से संबंध में लंबे समय से खटास चली आ रही है। वहीं अफगानिस्तान के लोग ईरान की सीमा में घुसकर वहां बसना  चाहते है।

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पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मौजूदा वाइडन सरकार पर जमकर हमला बोला है। उन्होंने कहा तालिबान ने अफगानिस्तान पर जिस तरह कब्जा किया है वो अमेरिका के इतिहास की सबसे बड़ी हार है। वहीं संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की पूर्व राजदूत निक्की हेली ने बाइडन सरकार की विफलता की सरकार बताया है। इस बीच खबर यह भी है तालिबान ने अपने नए गवर्नर की नियुक्ति कर दी है। मुल्ला शीरीन को काबुल का नया गवर्नर बनाया गया है।

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